नववर्ष में खुशियों की बहार
नववर्ष नयी- नयी खुशियां लाया है,
अंतस की मुस्कान अपने साथ लाया है।
1)नये वर्ष में नित नये संकल्प लेना है,
सबकों खुशियों की सौगात देना है।
अब दुखों के बादल छंट जाए कुछ करना है,
ईश्वर से विनती दिन- रात अब करना है।
पिछले बरस की दुःख मुश्किलो को दूर करने आया है।
नववर्ष नयी-नयी खुशियां लाया है।
2)गीता के अध्यायों को अब याद रखना है,
अपना वक्त स्वाध्याय में लगाना हैं।
जो अभी तक नहीं मिल पाया फरियाद करना है,
परिश्रम अब सबको ज्यादा करना है।
सबका अकेलापन दुःख दूर करने आया है।
नववर्ष नयी-नयी खुशियां लाया है।
3)जिंदगी को आने वाले साल की शुभकामना,
पूर्ण हो आप सभी की मनोकामना।
नये -नये सृजन कर स्वर्णिम रश्मियों को जगाना ,
नयी उमंगों,उम्मीदों, आशाओं के दीप जलाना।
निज स्वार्थ को छोड़कर सबमें अपनापन लाया है।
नववर्ष नयी-नयी खुशियां लाया है,
अंतस की मुस्कान अपने साथ लाया है।
*नीलू सक्सेना कस्तूरी*