वर्ल्ड रिकॉर्ड कवि सम्मेलन” गोण्डा के सुधीर श्रीवास्तव को ‘काव्यश्री’ सम्मान

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   गोण्डा(उ.प्र.): जिले के वरिष्ठ साहित्यकार/कवि श्री सुधीर श्रीवास्तव लगातार 200 घंटे चलने वाले वर्चुअल काव्य सम्मेलन में शामिल होकर 13 जुलाई’ 21 को काव्य पाठ करने के लिए “काव्यश्री” सम्मान से सम्मानित किया गया है। ध्यान देने योग्य यह भी है कि साहित्यिक संस्था ‘बुलंदी: साहित्य ए कलम’ उत्तराखंड के तत्वावधान में आयोजित इस कवि सम्मेलन को इंडिया वर्ल्ड रिकॉर्ड में सम्मिलित किया गया।

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श्री श्रीवास्तव के अलावा आ. नरेश चंद्र द्विवेदी शलभ (फर्रूखाबाद, उ.प्र.), आ.ओम प्रकाश श्रीवास्तव ‘ओम’ (कानपुर, उ.प्र.), आ. ममता रानी सिन्हा (तोपा, रामगढ़, झारखंड), आ.विनीता कुशवाहा (गोण्डा, उ.प्र.) और आ.आर्तिका श्रीवास्तव (लखनऊ, उ.प्र.), आ. हंसराज सिंह हंस (प्रयागराज, उ.प्र.) को भी “काव्यश्री” सम्मान से सम्मानित किया गया है।
11 जुलाई से 20 जुलाई तक विश्व के सबसे लम्बे अंतराल 207 घंटे तक चले इस महा कवि सम्मेलन में भारत के विभिन्न प्रांतों के अलावा विदेशों से भी लगभग 900 से अधिक कवियों/ कवयित्रियों ने आनलाइन काव्य पाठ किया था।
संस्था के संस्थापक/अध्यक्ष आ. बादल बाजपुरी और राष्ट्रीय उपाध्यक्ष आ. राकेश शर्मा ने श्री सुधीर श्रीवास्तव के अलावा जिले के वजीरगंज की कवयित्री श्रीमती विनीता कुशवाहा को भी ‘काव्यश्री’ सम्मान पत्र देकर सम्मानित किया है।
ज्ञातव्य है कि श्री श्रीवास्तव विभिन्न साहित्यिक संस्थाओं में पदाधिकारी भी हैं। जिनमें स्व.हंसराज अरोड़ा स्मृति मंच के अंतरराष्ट्रीय संरक्षक, नव साहित्य परिवार भारत, साहित्यकोष(राष्ट्रीय साहित्यिक मंच) के संरक्षक, साहित्य प्रकाश रचना मंच के अधीक्षक, अ.भा. साहित्यिक आस्था परिवार के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष, प्रयागराज कल्चरल सोसायटी के महासचिव, कुछ बात कुछ जज़्बात मंच के मीडिया प्रभारी, साहित्य संगम संस्थान असम इकाई के अधीक्षक होने के अलावा अन्य साहित्यिक संस्थाओं को भी अपरोक्ष सहयोग और मार्गदर्शन दे रहे हैं।
विभिन्न साहित्यिक संस्थाओं से लगभग 1000 ई सम्मान/सम्मान पत्र प्राप्त कर चुके श्री सुधीर श्रीवास्तव गतवर्ष 25 मई’2021 को पक्षाघात का शिकार होने और स्वास्थ्य लाभ के दौरान श्री श्रीवास्तव लगभग 22 वर्षों से बंद लेखन को पुनर्जीवित कर पुनः
साहित्य साधना में लौटे। देश के विभिन्न प्रांतों के 50 से अधिक नवोदितों का मार्गदर्शन कर उनके प्रेरक और गाड फादर की भूमिका निभाते रहने वाले श्रीवास्तव का ये जुनून सा हो गया है।
विशेष बात यह भी है कि श्री श्रीवास्तव ने नेत्रदान का संकल्प कर रखा है और देहदान की इच्छा भी रखते हैं।
वर्ल्ड रिकॉर्ड महा कवि सम्मेलन में श्री सुधीर श्रीवास्तव को ‘काव्यश्री’ सम्मान से सम्मानित किए जाने पर जिले और मंडल के साहित्यकारों, पत्रकारों, बुद्धिजीवियों ,साहित्यिक, सामाजिक संस्थाओं के पदाधिकारियों के अलावा पारिवारिक सदस्यों, रिश्तेदारों, मित्रों,शुभचिंतकों ने प्रसन्नता व्यक्ति करते हुए उन्हें बधाइयां और शुभकामनाएं दी हैं। इससे भावुक श्री श्रीवास्तव ने सभी के प्रति आभार व्यक्त किया है।

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